नेपाल भारत को दरकिनार नहीं कर सकता—प्रो. हर्ष वी. पन्त
नेपाल भारत को दरकिनार नहीं कर सकता—प्रो. हर्ष वी. पन्त
आई एन न्यूज गोरखपुर डेस्क:
चीन के व्यापारिक और सांस्कृतिक दखल के बाद भी नेपाल भारत के रिश्तों को दरकिनार नहीं कर सकता है। आज भी नेपाल से हमारा रोटी-बेटी का संबंध है। भारत और नेपाल के बीच धार्मिंक समानता को चीन कभी काट नहीं सकता है। यह भारत के लिए ट्रंप कार्ड की तरह है। ‘किंग्स कॉलेज लन्दन के प्रोफेसर और ऑब्जर्वर रिसर्च फाउंडेशन के स्ट्रेटजिक स्टडीज प्रोग्राम के निदेशक प्रो. हर्ष वी. पन्त दीदउ गोरखपुर विश्वविद्यालय के दीक्षांत सप्ताह कार्यक्रमों की शृंखला में भारत की विदेश नीति और सुरक्षा नीति पर बुधवार को व्याख्यान देंगे। इसके पहले वह मंगलवार को पार्क रोड स्थित एक होटल में मीडिया से मुखातिब थे। प्रो.पंत ने कहा कि इसमें कोई संदेह नहीं की नेपाल से चीन की नजदीकियां पिछले कुछ वर्षों में भारत की तुलना में काफी बढ़ी हैं। नेपाल का युवा वर्ग अब भारत से सांस्कृतिक रिश्तों को लेकर पूर्व की तरह संजीदा नहीं है। पिछले वर्षों में बार्डर पर हुए नाकेबंदी को नेपाल अभी भी गांठ बांधे हुए है। प्रो.पंत ने कहा कि चीन की तुलना में भारत घोषित परियोजनाओं को उस तरह नहीं पूरा कर पा रहा है जिस संजीदगी से चीन कर रहा है। चीन के संबंधों पर प्रो. पंत ने कहा कि चीन से दोस्ती हमेशा संदेह वाली रही है। वह कभी भी बेहतर दोस्त साबित नहीं हो सकता है। पर, डोकलाम प्रकरण के बाद भारत ने जिस मजबूती से वैश्विक स्तर पर अपने दखल को बढ़ाया है, उसे कूटनीतिक जीत के रूप में देखा जा सकता है। चीन भारत के साथ शिखर वार्ता को लेकर विवश हुआ है। अमेरिका से भारत के रिश्तों को भी चीन दरकिनार करने की स्थिति में नहीं है। कश्मीर को लेकर भारत की वैश्विक कूटनीति पर प्रो.पंत ने कहा कि भारत की कूटनीति कश्मीर को लेकर सफल साबित हो रही है। धारा 370 हटाने के बाद भारत कश्मीर को लेकर जिस प्रकार कदम बढ़ा रहा है उससे पाकिस्तान अलग-थलग पड़ गया है। पाकिस्तान हमेशा से ही भारत के लिए सिरदर्द बना रहा है लेकिन भारत की कूटनीति पूर्ववर्ती सरकारों के मुकाबले काफी सकारात्मक दिख रही है। फ्रांस से मंगाये गए लड़ाकू जहाज राफेल को लेकर प्रो.पंत ने कहा कि एयरफोर्स को राफेल के आने से काफी मजबूती मिलेगी। राफेल काफी अत्याधुनिक जहाज है। विवादों से बचने के लिए भारत रक्षा सौदों से बचता रहा है। वह भारतीय एयरफोर्स के लिए काफी खतरनाक साबित हो रही थी।