लखनऊ में 16वें जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम: मुख्यमंत्री ने किया प्रतिभागियों से संवाद
लखनऊ में 16वें जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम: मुख्यमंत्री ने किया प्रतिभागियों से संवाद
आई एन न्यूज लखनऊ डेस्क:
लखनऊ में आयोजित 16वें जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम के अंतर्गत उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने ओडिशा, झारखंड, छत्तीसगढ़ और मध्य प्रदेश से पधारे प्रतिभागियों का हार्दिक स्वागत एवं अभिनंदन किया। इस अवसर पर उन्होंने जनजातीय संस्कृति और उसके योगदान पर विस्तार से चर्चा की।
जनजातीय संस्कृति की महत्ता पर मुख्यमंत्री का वक्तव्य
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जनजातीय संस्कृति ने भारत के ज्ञान-विज्ञान की धरोहर को संजोकर विपरीत परिस्थितियों में भी उसे आगे बढ़ाने का काम किया है। उन्होंने यह भी कहा कि जब भी राष्ट्र और धर्म के समक्ष चुनौतियां आईं, जनजातीय समाज ने अपनी साहस और दृढ़ता से उनका डटकर मुकाबला किया।
प्रतिभागियों से संवाद का सुअवसर
मुख्यमंत्री ने सभी प्रतिभागियों से संवाद करते हुए उनके अनुभव और विचार सुने। उन्होंने कहा कि यह आदान-प्रदान कार्यक्रम न केवल सांस्कृतिक विविधता को समझने का अवसर प्रदान करता है, बल्कि भारत के विभिन्न हिस्सों के युवाओं के बीच एकता और भाईचारे को भी मजबूत करता है।
कार्यक्रम का उद्देश्य
जनजातीय युवा आदान-प्रदान कार्यक्रम का मुख्य उद्देश्य विभिन्न राज्यों के जनजातीय युवाओं को एक मंच पर लाना और उनकी संस्कृति, परंपराओं और सोच को साझा करना है। यह कार्यक्रम भारत की “विविधता में एकता” की भावना को दर्शाता है और राष्ट्रीय एकता को मजबूत करता है।
मुख्यमंत्री का संदेश
योगी आदित्यनाथ ने प्रतिभागियों को संबोधित करते हुए कहा कि उत्तर प्रदेश की धरती पर आप सभी का स्वागत हमारे लिए गर्व का विषय है। यह भूमि न केवल सांस्कृतिक धरोहरों से समृद्ध है, बल्कि यहां की मेहमाननवाजी भी विशिष्ट है। उन्होंने सभी प्रतिभागियों को इस अनुभव को सकारात्मक रूप से आत्मसात करने और इसे अपने जीवन में उतारने का संदेश दिया।
यह कार्यक्रम उत्तर प्रदेश में सांस्कृतिक आदान-प्रदान और राष्ट्रीय एकता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम माना जा रहा है। उत्तर प्रदेश।